✍️ देसाईगंज : यह सरकारी तंत्र है, जिसमें बाबुओं से लेकर अफसरों तक को अपने हक की गुहार लगाने में जिंदगी बीत जाती है, लेकिन अधिकार नहीं मिल पाता। ऐसा ही एक किसा ५० सालो से अपने हक के लिए सिस्टम से संघर्ष कर रहे है।देसाईगंज का सिंधी समाज अपने जमीन के पट्टे के लिये ५० सालो से संघर्ष कर रहा है लेकीन उसे जमीन के पट्टे का महज आश्वासन ही मिला परंतु पट्टा उसके नाम अब तक नहीं हो पाया। यही नहीं, इस संबंध में सिंधी समाज की तीन पिढ्यां हो गई लेकीन अब आ
श्वासन के सिवाय कूछ हाथ नही लगा है, चुनाव आते ही पट्टे देणे का आश्वासन नेता लोग कई सालो से देते आये है लेकीन चुनाव खतम होते ही पांच साल फिर इंतजार समाज के लोगो को करना पडता है,देसाईगंज शहर मे सिर्फ सिंधी समाज ही नहि ऐसे कई गरीब परिवार भी है जो पटे न होने से घरकुल का लाभ नही ले पाते,कच्चा मकान पुर्वज के नाम होने व उसका आवेदन के नाम से नामांतरन कराने मे हजारो रुपये का खर्च न उठा पाने से प्रथानमंत्री आवास योजना के लाभ से गरीब परिवारो को वंचित् रहना पडता है,

दो महिने के दरमियान अगर जमीन के पट्टे नही मिले तो आने वाले चुनाव मे सिंधी समाज नोटा को वोट देंगा समय आने पर बहिष्कार भी कर सकता है ऐसा कहना है सिंधी समाज के प्रतिष्टीत व्यापारी श्रीचंद डेंगानी का अब किसी पक्ष की बात को नही सुना जायेगा जो वोट मांगने आयेगा उसे जवाब देना होगा ऐसा श्रीचंद डेंगानी ने मीडिया से कहा..